T20 World Cup 2022: गेंदबाजों पर ही फोड़ा जा रहा है हार का ठीकरा, लेकिन ना भूलो ये असल वजह,जिसने रखी हार की नींव
T20 World Cup 2022: गेंदबाजों पर ही फोड़ा जा रहा है हार का ठीकरा, लेकिन ना भूलो ये असल वजह,जिसने रखी हार की नींव
T20 World Cup 2022: टीम इंडिया की आईसीसी टी20 विश्व कप 2022 में हार के बाद हर कोई निराश है। टीम के खिलाड़ी, पूर्व क्रिकेटर्स, फैंस सभी के इस समय दिल टूटे हुए हैं। ऑस्ट्रेलिया की सरजमीं पर जिस रफ्तार के साथ टीम इंडिया का विजय रथ चल रहा था, उसे देख उम्मीद जग गई थी कि ये सफर फाइनल मैच में खिताब जीतने के बाद ही रूकेगा लेकिन गुरुवार को खिताबी जंग से एक कदम पहले ही मैन इन ब्ल्यू के राह में इंग्लैंड ने ब्रेक लगा दिया।
फैंस टीम इंडिया के इस लचर प्रदर्शन से बहुत ही खफा हैं, क्योंकि वो अपनी इस टीम पर हर बार आईसीसी इवेंट में जीत की उम्मीदें लगाए बैठे रहते हैं, जो अंत तक भरोसे के साथ चैंपियन बनने का इंतजार करते रहते हैं। ये इंतजार 2-5 साल से नहीं बल्कि पूरे 9 साल से हो रहा है, लेकिन एक बार फिर से प्रशंसकों के अरमान धराशाही हो गए।
फैंस के सपनों को तोड़ने, उनके इस 9 साल से चले आ रहे आईसीसी इवेंट में जीत के इंतजार को बढ़ाने के पीछे कैप्टन, क्रिकेट पंडित से लेकर फैंस और पूर्व क्रिकेटर हर कोई सिर्फ और सिर्फ गेंदबाजों के सिर पर हार का ठीकरा फोड़ रहा है। क्योंकि 168 रन का स्कोर इंग्लिश टीम ने केवल 16 ओवर में बिना कोई विकेट खोए ही हासिल कर लिया। ऐसे में गेंदबाजों को हार का जिम्मेदार ठहराना गलत नहीं होगा।
लेकिन क्या इस करारी हार के पीछे केवल और केवल गेंदबाजों को ही जिम्मेदार मानना सही होगा? क्या टीम के गेंदबाज ही बने है इस हार की असल वजह? शायद बहुत से लोगों का यही मानना है, लेकिन सिर्फ और सिर्फ बॉलर्स को हार की वजह मानना ठीक नहीं है, क्योंकि शर्मनाक हार की असल वजह कुछ और ही है, जिसने गेंदबाजों के मैदान में उतरने से पहले से ही इस कभी ना भूलने वाली हार की रूपरेखा तैयार कर दी थी।
चलिए अब जानते हैं, आखिर क्या है इसकी बड़ी और असल वजह… हम ये बिल्कुल भी इनकार नहीं कर रहे हैं कि गेंदबाजों ने इस मैच में बहुत ही घटिया प्रदर्शन किया, हम ये भी मान रहे हैं कि 168 रन का स्कोर कोई छोटा नहीं है, जो हमारे बॉलर्स एक भी विकेट तक नहीं ले सके।
टीम इंडिया हार की असल वजह,जिसने रखी हार की नींव
लेकिन गेंदबाजों से पहले हार की नींव बल्लेबाजों ने रख दी थी। इंग्लैंड के कप्तान ने टॉस जीतने के बाद भारत को पहले बल्लेबाजी के लिए आमंत्रित किया, यानी साफ था कि पिच में बड़े से बड़ा लक्ष्य का पीछा करने की बात जरूर है। एडिलेड की इस पिच पर भारत को जीतने के लिए एक बड़ा टारगेट सेट करना था, ऐसे में ये पूरा काम टीम के बल्लेबाजों के कंधों पर आ गया था।
टीम में रोहित शर्मा, केएल राहुल, नंबर-1 सूर्यकुमार यादव और विराट कोहली जैसे खतरनाक बल्लेबाज मौजूद थे, जिनका लोहा पूरे क्रिकेट जगत ने माना है, और गेंदबाज इनके क्रीज पर उतरने से पहले ही खौफ में रहते हैं, लेकिन ये बड़े-बड़े नाम इस बड़े मैच में इतना खराब खेले कि भारत को 190 या 200 तक का स्कोर सेट करने की नींव ही प्रदान नहीं हो सकी।
केएल राहुल जिन्होंने इस मैच में पहले अपनी फॉर्म को हासिल किया था, उनसे काफी भरोसा था, कप्तान रोहित से भी अहम मैच में अच्छी और प्रभावशाली पारी की जरूरत थी, वहीं प्रचंड फॉर्म में चल रहे विराट कोहली और सूर्यकुमार यादव से सबसे ज्यादा उम्मीद थी, लेकिन मौजूदा टीम के इन फैब-4 ने मिलकर कुल 83 गेंद खेली, जिसमें उन्होंने 96 रन बनाए। यानी करीब-करीब 14 ओवर खेलने के बाद भी ये बल्लेबाज 100 रन तक नहीं ना सके, तो बची 37 गेंद या यूं कहे कि 6 ओवर में आप कितने रनों की उम्मीद कर सकते हैं?
भारत की सलामी जोड़ी पारी शुरू होने के 10 गेंद में ही दम तोड़ देती है, जहां केएल राहुल केवल 5 रन बनाकर बड़े मैच में छोटे दर्शन देकर चल निकलते हैं। इसके बाद टी20 फॉर्मेट के शहंशाह के रूप में स्थापित हो चुके हिटमैन रोहित शर्मा और किंग कोहली मिलकर कुल 43 गेंद खेल जाते हैं, लेकिन इसमें केवल और केवल 47 रन जोड़ पाते हैं। इन दोनों ही बल्लेबाजों के नाम टी20 इंटरनेशनल क्रिकेट में कुल 7860 हैं।
कैप्टन 28 गेंद में 27 रन बनाते हैं, तो वहीं इस बैटिंग पिच पर विराट 40 गेंद खेलने के बाद भी केवल 50 रन बना पाते हैं, इसके बाद टी20 के बादशाह सूर्यकुमार यादव 10 गेंद में 14 रन बनाकर चल बनते हैं। यानी जब टीम को इस बड़े मैच में इन बड़े बल्लेबाजों की जरूरत थी, तब वो ऐसे खेल रहे हैं मानों किसी दोयम दर्जे की टीम के नौसिखिएं बल्लेबाज हो। इस पूरे विश्लेषण को समझने के बाद आप जान गए होंगे कि गलती कहां हुई है, ऐसे में क्या अब भी आप सिर्फ और सिर्फ गेंदबाजों को ही हार का गुनहगार मानेंगे या फिर पूरी टीम को इस बड़ी हार की वजह मानकर बेचारे गेंदबाजों को बख्शेंगे ये आप पर निर्भर है।
ये लेखक के अपने विचार हैं।